संदर्भ:
हाल ही में केंद्रीय बंदरगाह, जहाजरानी और जलमार्ग मंत्री ने भारत के प्रमुख बंदरगाहों पर परिचालन को मानकीकृत और सुव्यवस्थित करने के लिए “एक राष्ट्र-एक बंदरगाह (ONOP)” पहल की शुरूआत की है।
एक राष्ट्र-एक बंदरगाह (ONOP) के बारे में:
यह एक विशिष्ट पहल है जिसका उद्देश्य भारत के प्रमुख बंदरगाहों की अक्षमताओं को दूर करना तथा एकीकृत प्रणाली विकसित करना है।
कागजी कार्रवाई को मानकीकृत करके और प्रक्रियाओं को सरल बनाकर , ONOP पहल का उदेश्य है:
- सभी स्थानों पर समान प्रक्रियाओं का पालन सुनिश्चित करके, बंदरगाह संचालन में देरी को कम करना।
- कार्यप्रवाह में सुधार करके और अनावश्यक चरणों को हटाकर रसद लागत कम करना।
- बंदरगाह परिचालन को अंतर्राष्ट्रीय मानकों के अनुरूप बनाकर वैश्विक व्यापार में भारत की स्थिति में सुधार लाना।
यह पहल भारत को एक प्रमुख समुद्री केंद्र बनाने, आर्थिक विकास को प्रोत्साहित करने और देश के व्यापारिक ढांचे को सशक्त करने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।
अन्य पहलें:
- केंद्रीय मंत्री ने वित्त वर्ष 2023-24 के लिए लॉजिस्टिक्स पोर्ट परफॉर्मेंस इंडेक्स (LPPI) सागर अंकलन का भी शुभारंभ किया, जो भारत के समुद्री क्षेत्र में दक्षता और वैश्विक प्रतिस्पर्धात्मकता बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है।
- केंद्रीय मंत्री ने भारत की समुद्री पहुंच का विस्तार करके और वैश्विक व्यापार लचीलापन बढ़ाकर वैश्विक व्यापार को मजबूत करने के लिए भारत ग्लोबल पोर्ट्स कंसोर्टियम का भी शुभारंभ किया है।
- व्यापार प्रक्रियाओं को सरल बनाने, नौकरशाही की अकुशलताओं को न्यूनतम करने तथा मंजूरी में तेजी लाने के लिए MAITRI (मास्टर एप्लीकेशन फॉर इंटरनेशनल ट्रेड एंड रेगुलेटरी इंटरफेस) भी शुरू किया गया है ।
- भारत के ‘समुद्री विरासत’ और ‘समुद्री विकास’ को मनाने के लिए, जो एक द्विवार्षिक वैश्विक समुद्री सम्मेलन है, मुंबई में 27 से 31 अक्टूबर 2025 तक भारत समुद्री सप्ताह का आयोजन किया जाएगा।
- मंत्री ने राष्ट्रीय हरित बंदरगाह और शिपिंग उत्कृष्टता केंद्र (NCOEGPS) की वेबसाइट का भी शुभारंभ किया।
- बंदरगाह, जहाजरानी और जलमार्ग मंत्रालय ने ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन (ORF) के साथ साझेदारी में ‘सागरमंथन: द ग्रेट ओशन्स डायलॉग’ की शुरुआत की, जो भारत को सभी सामरिक समुद्री संवादों के लिए वैश्विक केंद्र बनाने के उद्देश्य से एक वार्षिक वार्ता होगी।
सागर अंकलन – लॉजिस्टिक्स पोर्ट परफॉरमेंस इंडेक्स (LPPI) के बारे में:
सागर अंकलन- LPPI का लक्ष्य बंदरगाह प्रदर्शन को मानकीकृत करना, परिचालन उत्कृष्टता को बढ़ावा देना और भारत की व्यापारिक कनेक्टिविटी को सशक्त बनाना है।
LPPI बल्क (शुष्क और तरल) और कंटेनर श्रेणियों के तहत सभी प्रमुख और गैर-प्रमुख बंदरगाहों का मूल्यांकन करेगा।
यह सूचकांक बंदरगाह के प्रदर्शन को मापने और सुधारने के लिए निम्नलिखित प्रमुख कारकों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है:
- कार्गो संचालन
- जहाज से माल उतारने और लादने में लगने वाले समय (टर्नअराउंड टाइम)
- बर्थ निष्क्रिय समय, जहाज रहने का समय और शिप बर्थ-डे आउटपुट
LPPI लॉजिस्टिक्स और व्यापार संबंधों को सुधारने के लिए बहुमूल्य जानकारी प्रदान करेगा, जिससे भारत को वैश्विक रैंकिंग में सुधार करने में मदद मिलेगी।
- विश्व बैंक के लॉजिस्टिक्स प्रदर्शन सूचकांक (LPI) 2023 में “अंतर्राष्ट्रीय शिपमेंट” के लिए भारत का 44वें स्थान से 22वें स्थान पर पहुंचना, देश की समुद्री लॉजिस्टिक्स में तेज़ प्रगति को प्रदर्शित करता है।