संदर्भ :
भारत में प्रतिवर्ष 7 नवंबर को राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस मनाया जाता है।
राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस
- भारत वर्ष 2014 से राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस मना रहा है, इस दिवस का उद्देश्य कैंसर की रोकथाम, पहचान और उपचार के प्रति लोगों को जागरूक करना है।
- राष्ट्रीय कैंसर रजिस्ट्री कार्यक्रम के आंकड़ों के अनुसार, प्रत्येक वर्ष लगभग 800,000 नए कैंसर के मामले सामने आने का अनुमान है, जिसमें पुरुषों में 35-50% और महिलाओं में 17% कैंसर तंबाकू के कारण होते हैं।
यह दिवस 7 नवंबर को क्यों मनाया जाता है?
7 नवंबर को प्रसिद्ध पोलिश-फ़्रेंच भौतिक शास्त्री और रसायनज्ञ मैरी क्यूरी का जन्मदिन होता है। 1867 में, उन्हें रेडियोधर्मिता की खोज के लिए नोबेल पुरस्कार मिला, जो कैंसर के उपचार में सहायक है।
- मैरी क्यूरी विज्ञान के लिए दो नोबेल पुरस्कार प्राप्त करने वाली पहली व्यक्ति थीं। उन्हें पहला नोबेल पुरस्कार 1903 में भौतिकी के लिए और दूसरा 1911 में रसायन विज्ञान के लिए मिला।
भारत विश्व का पहला देश है जिसने राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस को आधिकारिक तौर पर मान्यता दी है।
भारत में कैंसर उपचार में प्रगति
राष्ट्रीय कैंसर नियंत्रण कार्यक्रम (NCCP) 1975 में शुरू किया गया था जिसे बाद में कैंसर, मधुमेह, हृदय रोग और स्ट्रोक की रोकथाम और नियंत्रण के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम (NPCDCS) में एकीकृत कर दिया गया, जो 2010 से लागू है।
- NPCDCS को बढ़ते गैर-संचारी रोगों (NCD) पर नियंत्रण करने के लिए शुरू किया गया था।
सरकार ने तम्बाकू जनित कैंसर से निपटने के लिए कई उपाय किए हैं, जैसे:
- व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल: आयुष्मान भारत-स्वास्थ्य और कल्याण केंद्र (AB-HWC) योजना के माध्यम से कैंसर के निवारक पहलू को मजबूत किया जाता है, जो कल्याण गतिविधियों और सामुदायिक स्तर पर स्वास्थ्य संचार को बढ़ावा देता है।
- पोषण संवर्धन: भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI) कैंसर के जोखिम को कम करने के लिए स्वस्थ खानपान की आदत को प्रोत्साहित करता है।
- सचित्र चेतावनी: सिगरेट और अन्य तम्बाकू उत्पाद (पैकेजिंग और लेबलिंग) संशोधन नियम 2014 के तहत, भारत में तम्बाकू पैकेटों पर सचित्र चेतावनियाँ पैकेट के 85% हिस्से को कवर करती हैं, जो विश्व के सबसे सख्त नियमों में से एक है।
हाल ही में, केंद्रीय वित्त मंत्री ने तीन महत्वपूर्ण कैंसर दवाओं अर्थात् ट्रैस्टुजुमैब डेरक्सटेकन, ओसिमर्टिनिब और ड्यूरवालुमैब पर सीमा शुल्क में छूट दिए जाने की घोषणा की है।
सरकार कैंसर के उपचार के लिए नए तरीकों का उपयोग कर रही है जैसे:
- चुंबकीय हाइपरथर्मिया-आधारित थेरेपी: यह चुंबकीय नैनोकणों का उपयोग कर न्यूनतम दुष्प्रभावों के साथ ट्यूमर कोशिकाओं को लक्षित करने और नष्ट करने के लिए मददगार है।
भारत कैंसर के विरुद्ध अंतरराष्ट्रीय सहयोग में भी सक्रिय रूप से भाग ले रहा है। क्वाड कैंसर मूनशॉट कैंसर के विरुद्ध वैश्विक लड़ाई में अपनी भूमिका को मजबूत करने हेतु अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, भारत और जापान के मध्य एक संयुक्त पहल है।