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सामान्य अध्ययन-2: सरकारी नीतियां और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए हस्तक्षेप तथा उनके अभिकल्पन और कार्यान्वयन से संबंधित विषय।

संदर्भ:

हाल ही में, केंद्र सरकार ने चालू वित्त वर्ष (2025-26) के दौरान प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (PMUY) के तहत 25 लाख अतिरिक्त एलपीजी कनेक्शन जारी करने को मंजूरी दी।

प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (PMUY)

  • प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना,गरीबी रेखा से नीचे (BPL) जीवनयापन करने वाले परिवारों की महिलाओं को एलपीजी कनेक्शन उपलब्ध कराने के लिए पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय की एक योजना है।
  • विशेषताएँ:
    • PMUY के तहत लाभार्थियों को जमा-मुक्त एलपीजी कनेक्शन मिलता है।
    • कनेक्शन महिला लाभार्थियों के नाम पर जारी किए जाते हैं।
  • पात्रता:
    • आवेदक 18 वर्ष से अधिक आयु की महिला होनी चाहिए।
    • आवेदक ग्रामीण निवासी होना चाहिए और उसके पास बीपीएल कार्ड होना चाहिए।
    • सब्सिडी राशि प्राप्त करने के लिए महिला आवेदक का देश भर के किसी भी राष्ट्रीयकृत बैंक में बचत बैंक खाता होना चाहिए।
    • आवेदक के परिवार के पास पहले से एलपीजी कनेक्शन नहीं होना चाहिए।
  • उज्ज्वला 2.0:
    • सरकार ने अगस्त 2021 में 1 करोड़ अतिरिक्त PMUY कनेक्शन जारी करने के लक्ष्य के साथ इसे लॉन्च किया, जिसे जनवरी 2022 में हासिल कर लिया गया।
    • सरलीकृत आवेदन: प्रवासी परिवारों के लिए एक विशेष प्रावधान किया गया, जिससे उन्हें पते के प्रमाण और राशन कार्ड उपलब्ध कराए बिना स्व-घोषणा के माध्यम से ही नया एलपीजी कनेक्शन प्राप्त करने की अनुमति मिल गई है।
    • प्रारंभिक सहायता: पहला रिफिल निःशुल्क होगा और गैस चूल्हा भी दिया जाएगा।
    • डिजिटल सत्यापन: आधार प्रमाणीकरण के माध्यम से ई-केवाईसी।

उपलब्धियाँ

  • कुल कनेक्शन: वितरण के नवीनतम दौर के साथ, PMUY योजना के तहत वितरित कनेक्शनों की कुल संख्या 10.58 करोड़ तक पहुँच गई है। 1 मार्च 2025 तक, भारत में सक्रिय घरेलू एलपीजी उपभोक्ताओं की कुल संख्या 32.94 करोड़ थी।
  • वैश्विक मान्यता: अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA) द्वारा पर्यावरण और महिलाओं के स्वास्थ्य में सुधार लाने में एक “बड़ी उपलब्धि” के रूप में इस योजना की सराहना की गई है।
  • प्रति व्यक्ति एलपीजी खपत: यह वित्त वर्ष 2019-20 में 3.01 सिलेंडर से बढ़कर वित्त वर्ष 2023-24 में 3.95 सिलेंडर और वित्त वर्ष 2024-25 में 4.43 सिलेंडर हो गई है (1 मार्च 2025 तक)।
  • रिफिल की उच्च लागत: जुलाई 2025 तक, सक्रिय PMUY कनेक्शनों की कुल संख्या 10 करोड़ से अधिक है, अरबों एलपीजी रिफिल वितरित किए गए हैं, जो खाना पकाने के स्वच्छ ईंधन की ओर बदलाव को दर्शाता है।
  • एलपीजी की वहनीयता: गरीब परिवारों के लिए एलपीजी को वहनीय बनाने हेतु तेल विपणन कंपनियों (OMCs) ने उज्ज्वला लाभार्थियों के लिए 5 किलोग्राम रिफिल का विकल्प पेश किया है, जहाँ उज्ज्वला लाभार्थी 14.2 किलोग्राम सिलेंडर को 5 किलोग्राम रिफिल से बदल सकते हैं और इसके विपरीत प्रक्रिया भी की जा सकती है।

प्रमुख लाभ

  • स्वास्थ्य में सुधार: पारंपरिक ईंधन से एलपीजी की ओर बदलाव से घर के अंदर वायु प्रदूषण कम हुआ है, जिससे श्वसन संबंधी बीमारियों में कमी आई है, विशेष रूप से महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य में सुधार हुआ है।
    • ओडिशा में संपन्न अध्ययन के अनुसार, 44% नमूना परिवारों में श्वसन संबंधी बीमारियों में कमी दर्ज की गई, जो कार्यक्रम से जुड़े सकारात्मक स्वास्थ्य परिणामों पर प्रकाश डालता है।
  • कठिन श्रम में कमी: एलपीजी ने पारंपरिक ईंधन इकट्ठा करने में लगने वाले समय और श्रम में कमी ला दी है, जिससे महिलाएँ अपने खाली समय का उपयोग आर्थिक उत्पादकता बढ़ाने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में कर सकती हैं।
  • पर्यावरण संरक्षण: लकड़ी और बायोमास पर निर्भरता कम होने से वनों की कटाई में कमी आई है और पर्यावरण संरक्षण में मदद मिली है।
    • PMUY ने बीपीएल परिवारों में ईंधन की लकड़ी के उपयोग में 2.2 प्रतिशत अंकों की कमी की। इस प्रकार वनों की कटाई में कमी आई और स्वच्छ ऊर्जा का उपयोग बढ़ा।
  • बेहतर पोषण: एलपीजी के साथ खाना पकाना की सुविधा मिलने से परिवारों को विभिन्न प्रकार के पौष्टिक भोजन तैयार करने में मदद मिली है, जिससे समग्र स्वास्थ्य बेहतर हुआ है।

स्रोत:
Newsonair
India
PIB

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