जापान की पहली महिला प्रधानमंत्री

संदर्भ: हाल ही में, जापान की सत्तारूढ़ लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी (LDP) ने साने ताकाइची को अपना नया नेता चुना और इस प्रकार वे जापान की पहली महिला प्रधानमंत्री बनने की राह पर हैं।

अन्य संबंधित जानकारी

  • एलडीपी नेतृत्व के लिए चुनाव 4 अक्टूबर, 2025 को टोक्यो स्थित एलडीपी मुख्यालय में हुआ।
  • साने ताकाइची ने शिंजिरो कोइज़ुमी को मतदान में हराया।
  • उम्मीद है कि अक्टूबर के मध्य में, जब जापान की संसद का निचला सदन (डाइट) नेतृत्व के लिए मतदान करेगा, तब उन्हें औपचारिक तौर पर प्रधानमंत्री चुन लिया जाएगा।
  • ताकाइची, शिगेरु इशिबा का स्थान लेंगी, जिन्होंने चुनाव में लगातार हार मिलने और एलडीपी के दोनों संसदीय सदनों में अपना बहुमत खो देने के पश्चात् प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।
  • उनकी जीत एलडीपी के भीतर रूढ़िवादी और राष्ट्रवादी दक्षिणपंथी सरकार की ओर एक बड़े राजनीतिक बदलाव का प्रतीक है।

साने ताकाइची के बारे में

  • साने ताकाइची एक अनुभवी जापानी राजनीतिज्ञ हैं जो अपने रूढ़िवादी और राष्ट्रवादी रुख के लिए जानी जाती हैं।
  • वे आर्थिक सुरक्षा मंत्री, आंतरिक मामले और संचार मंत्री, तथा लैंगिक समानता मंत्री सहित कई प्रमुख कैबिनेट पदों पर रहीं है।
  • ताकाइची अपने राजनीतिक प्रेरणास्रोत के रूप में अक्सर मार्गरेट थैचर का जिक्र करतीं हैं और उन्होंने “आबेनॉमिक्स” को पुनः जीवंत करने का संकल्प लिया है। ‘आबेनॉमिक्स’, दिवंगत शिंजो आबे की आर्थिक नीति रूपरेखा है, जिसमें विकास को बढ़ावा देने के लिए राजकोषीय प्रोत्साहन, मौद्रिक सुगमता और संरचनात्मक सुधारों को शामिल किया गया है।

पश्चिम बंगाल में दामोदर घाटी की बाढ़ को लेकर केंद्र-राज्य में मतभेद

संदर्भ: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने दामोदर घाटी निगम (DVC) पर बांध से अत्यधिक पानी छोड़ने का आरोप लगाया है, जिसके कारण त्योहारों के मौसम में पश्चिम बंगाल में बाढ़ आ गई।

अन्य संबंधित जानकारी

  • मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि दामोदर घाटी निगम ने मैथन और पंचेत बांधों से “जानबूझकर” 1,50,000 क्यूसेक से अधिक पानी छोड़ा, जिससे पश्चिम बंगाल के कई ज़िलों में “मानवजनित बाढ़” आई।
  • यह बयान दुर्गा पूजा उत्सव से पहले दिया गया, क्योंकि बाढ़ ने उत्तर और दक्षिण बंगाल, दोनों क्षेत्रों को प्रभावित किया है।
  • दामोदर घाटी निगम ने आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि उसने 1,50,000 क्यूसेक नहीं, बल्कि केवल 70,000 क्यूसेक पानी छोड़ा था और सभी हितधारकों को पहले ही सूचित कर दिया था।

दामोदर घाटी निगम (DVC)

  • दामोदर घाटी निगम अधिनियम, 1948 के तहत 7 जुलाई 1948 को स्थापित की गई यह भारत की पहली बहुउद्देशीय नदी घाटी परियोजना थी, जिसे केंद्र सरकार और पश्चिम बंगाल तथा बिहार (अब झारखंड) सरकारों द्वारा संयुक्त रूप से तैयार किया गया था।
  • दामोदर घाटी निगम का उद्देश्य दामोदर नदी बेसिन में बाढ़ को नियंत्रित करना, सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराना, बिजली उत्पादन करना और क्षेत्रीय विकास को बढ़ावा देना है।
  • दामोदर घाटी जलाशय विनियमन समिति (DVRRC) वर्षा और भंडारण स्थितियों के आधार पर जल निकासी के प्रबंधन में दामोदर घाटी निगम का मार्गदर्शन करती है।

मेघालय फिल्म पर्यटन नीति 2025

संदर्भ: मेघालय सरकार ने राज्य को फिल्म शूटिंग, वेब सीरीज़ और सांस्कृतिक प्रस्तुतियों के लिए पसंदीदा गंतव्य के रूप में स्थापित करने हेतु फिल्म और संगीत संवर्धन नीति 2025 पेश की।

अन्य संबंधित जानकारी

  • यह नीति फिल्म निर्माताओं और प्रोडक्शन हाउस को वित्तीय प्रोत्साहन और लॉजिस्टिक सहायता की पेशकश करती है।
  • मेघालय में अपने 75% कंटेंट की शूटिंग करने वाली फिल्में 1 करोड़ रुपये तक की वित्तीय सहायता के लिए पात्र हैं।
  • यदि निर्माण कार्य में स्थानीय कलाकारों, संगीतकारों और तकनीकी प्रतिभाओं को शामिल किया जाता है, तो अतिरिक्त 50 लाख प्रदान किए जाएंगे।
  • यह नीति जुलाई 2025 में पेश की गई थी और इसे फिल्म उद्योग से बहुत सकारात्मक प्रतिक्रिया मिल रही है।
  • राज्य अपने पर्यटन और सांस्कृतिक आकर्षण को बढ़ाने के लिए एक जीवंत संगीत कार्यक्रम अर्थव्यवस्था के निर्माण पर भी ध्यान केंद्रित कर रहा है।
  • पिछले वर्ष, राज्य सरकार ने संगीत कार्यक्रमों (कॉन्सर्ट) को बढ़ावा देने के लिए 50 करोड़ रुपये खर्च किए, जिससे 133.42 करोड़ रुपये का राजस्व सृजन हुआ, जो निवेश की तुलना में पाँच गुना रिटर्न को दर्शाता है।

योजना के तहत सहायिकी (सब्सिडी)

गैर- FASTag उपयोगकर्ताओं के लिए यूपीआई इंसेंटिव

संदर्भ: डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने और राष्ट्रीय राजमार्गों पर टोल प्लाजा पर नकद लेनदेन को कम करने के लिए, भारत सरकार ने राष्ट्रीय राजमार्ग शुल्क (दरों और संग्रह का निर्धारण) नियम, 2008 में संशोधन किया है।

अन्य संबंधित जानकारी

  • नकद भुगतान के लिए दंड: वैध, कार्यात्मक फास्टैग के बिना शुल्क प्लाजा में प्रवेश करने वाले वाहनों से, यदि भुगतान नकद में किया जाता है, तो लागू उपयोगकर्ता शुल्क का दोगुना शुल्क लिया जाएगा।
  • यूपीआई पेमेंट इंसेंटिव: एकीकृत भुगतान इंटरफेस (UPI) के माध्यम से भुगतान करने वाले उपयोगकर्ताओं से लागू उपयोगकर्ता शुल्क का 25 गुना शुल्क लिया जाएगा।
  • उदाहरण के लिए, यदि किसी वाहन को वैध फास्टैग के माध्यम से 100 रुपये का उपयोगकर्ता शुल्क देना है, तो नकद भुगतान करने पर शुल्क 200 रुपये होगा और यूपीआई के माध्यम से भुगतान करने पर 125 रुपये होगा।
  • प्रभावी तिथि: नए नियम 15 नवंबर, 2025 से लागू होंगे।
  • सुधार के उद्देश्य:
    • शुल्क संग्रह प्रक्रिया को सुदृढ़ बनाना और नकदी प्रबंधन लागत एवं लीकेज को कम करना, जिससे प्राधिकरण के लिए परिचालन बचत होगी।
    • डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देना, नकदी पर निर्भरता कम करना और यूपीआई एवं फास्टैग के व्यापक उपयोग को प्रोत्साहित करना।
    • राष्ट्रीय राजमार्गों पर पारदर्शिता बढ़ाना, आवागमन को आसान बनाना और उपयोगकर्ता अनुभव में सुधार करना।
    • वर्तमान में, लगभग 98% टोल भुगतान फास्टैग के माध्यम से किए जाते हैं, जबकि 2% के लिए अभी भी नकद में भुगतान किया जाता है, जो आगे डिजिटल समावेशन की गुंजाइश को दर्शाता है।

डार्क स्टार्स

संदर्भ: हाल ही में, जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप (JWST) का उपयोग करने वाले खगोलविदों ने परमाणु संलयन के बजाय डार्क मैटर विनाश द्वारा संचालित एक नए प्रकार के तारे की पहचान की है।

अन्य संबंधित जानकारी

  • कॉस्मिन इली (कोलगेट विश्वविद्यालय) और कैथरीन फ़्रीज़ (ऑस्टिन स्थित टेक्सास विश्वविद्यालय) के नेतृत्व में शोधकर्ताओं ने JSWT डेटा का विश्लेषण किया।
  • उन्होंने चार खगोलीय पिंडों (JADES-GS-z11-0, z13-0, z14-0, z14-1) की पहचान की, जो डार्क स्टार्स के लिए सैद्धांतिक भविष्यवाणियों के अनुरूप थे।
  • ये निष्कर्ष नेशनल एकेडमी ऑफ साइंसेज की कार्यवाही में प्रकाशित हुए थे और बिग बैंग के बाद पहले चमकदार पिंडों के निर्माण के सिद्धांतों को नया रूप दे सकते हैं।

डार्क स्टार्स

  • ये काल्पनिक विशाल, फूले हुए, चमकदार तारे हैं जिनके बारे में यह सिद्धांत है कि वे प्रारंभिक ब्रह्मांड में मौजूद थे, और नाभिकीय संलयन के बजाय डार्क मैटर के विनाश से संचालित होते थे।
  • डार्क स्टार्स की अवधारणा बताती है कि प्रारंभिक ब्रह्मांड में, डार्क मैटर हेलो के भीतर हाइड्रोजन और हीलियम के घने बादल, डार्क मैटर के विनाश से गर्म हो गए थे, जिससे पारंपरिक तारों में उनके पतन को रोका जा सका।
  • ऐसे तारे ठंडे (<10,000 K) रह सकते हैं, फिर भी अत्यधिक विशाल हैं। इनका द्रव्यमान सूर्य के द्रव्यमान का दस लाख गुना तक होता है और ये सामान्य तारों की तुलना में अरबों गुना अधिक चमकीले हो सकते हैं।
  • ये अवलोकन, जिनमें संभावित हीलियम अवशोषण विशेषताएँ शामिल हैं, इस वर्ग के तारों के लिए पहला संभावित प्रमाण प्रदान करते हैं।
  • ये पिंड JWST द्वारा देखी गई अप्रत्याशित रूप से चमकीली प्रारंभिक आकाशगंगाओं और अतिविशाल ब्लैक होल सीड्स के निर्माण, दोनों की व्याख्या कर सकते हैं।

 

 

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